लुवास द्वारा “पशुओं की टूटी हड्डियों को जोडऩे के लिए एक्सटर्नल स्केलेटल फिकसेटर का कैसे प्रयोग करें तथा इससे किसानों को लाभ “पर राष्ट्रीय स्तर का वेबीनार संपन्न

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इंडियन सोसाइटी फॉर वेटरनरी सर्जरी एवं लुवास के तकनीक सहयोग से एक्सटर्नल स्केलेटल फिकसेटर द्वारा जानवरों की टूटी हड्डियों का प्रबंधन एवं उपचार पर कल शाम एक राष्ट्रीय वेबिनार का आयोजन किया गया।
इस वेबिनार के मुख्य वक्ता डॉ. हरि प्रसाद आइथल प्रमुख वैज्ञानिक, भारतीय पशु चिकित्सा अनुसंधान संस्थान, पुणे(महाराष्ट्र) थे। इस वेबिनार को ‘गूगल मीट’ पर संचालित किया गया एवं विश्वविद्यालय के फेसबुक पेज इंडियन सोसाइटी फॉर वेटरनरी सर्जरी एवं लुवास न्यूज़ पर भी लाइव प्रसारित किया गया। इस वेबिनार में देश-प्रदेश के 550 शल्य चिकित्सक, पशु चिकित्सक एवं छात्र सम्मिलित हुए। डॉ. डी. वी. पाटिल कार्यकारी सचिव, आई.एस.वी.एस., ने सभी प्रतिभागियों का वेबिनार पर स्वागत किया एवं डॉ. सिमरत सागर सिंह, अध्यक्ष, आई.एस.वी.एस. के संदेश से कार्यक्रम की शुरुआत की गई।
इस अवसर पर मुख्य वक्ता डॉ. हरि प्रसाद आइथल ने टूटी हड्डियों को एक्सटर्नल स्केलेटल फिकसेटर से जोडऩे की विधियों का विस्तारपूर्वक वर्णन किया। उन्होंने इंटर्नल फिक्सेशन की तुलना में एक्सटर्नल फिक्सेशन से भारी पशुओं की टूटी हड्डियों को जोडऩे की विधि को उत्तम बताया।
लुवास कुलपति डॉ. गुरदियाल सिंह, अधिष्ठाता डॉ. दिवाकर प्रकाश शर्मा तथा प्राध्यापक एवं सर्जरी विभागाध्यक्ष डॉ. अशोक कुमार ने सभी आयोजकों की अनुशंसा की एवं वेबिनार की सफलतापुर्वक आयोजन पर बधाई दी।
डॉ. दीपक कुमार तिवारी एवं डॉ. नीरज अरोड़ा ने तकनीकी समन्वयन तथा डॉ. नीलेश सिन्धु एव साहिल द्वारा वेबिनार संचालन में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। आई.एस.वी.एस. के सभी कार्यकारी सदस्य का भी इसे सफल बनाने में महत्वपूर्ण योगदान रहा। वेबिनार के अंत में डॉ. दीपक कुमार तिवारी (वेबिनार तकनीकी समन्वयक) ने मुख्य वक्ता, कार्यकारी सदस्यों एवं सभी प्रतिभागियों का आभार व्यक्त किया।

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